Health News : न्यूरो सर्जन ने बताया महिलाओं में स्ट्रोक के संकेत पुरुषों से अलग
Health News : विशेषज्ञ डॉक्टर्स की माने तो महिलाओं में स्ट्रोक के संकेत पुरुषों से अलग हो सकते हैं। एक सीनियर कंसल्टेंट न्यूरो सर्जन ने बताया
Health News : विशेषज्ञ डॉक्टर्स की माने तो महिलाओं में स्ट्रोक के संकेत पुरुषों से अलग हो सकते हैं। एक सीनियर कंसल्टेंट न्यूरो सर्जन ने बताया कि हाल के अध्ययनों के अनुसार, महिलाओं में स्ट्रोक के लक्षण पुरुषों से अलग हो सकते हैं, जो कि रेगुलर संकेतों से अलग दिखते हैं। डॉक्टर्स के मुताबिक, इसकी वजह से महिलाओं को अचानक कमजोरी या सुस्ती का सामना करना पड़ सकता है, जिसका थकावट या नींद की कमी से कोई संबंध नहीं होता। यह लक्षण पुरुषों की तुलना में महिलाओं में अधिक पाया जाता है।
इससे अलग, पुरुषों की तुलना में महिलाओं में कमजोरी का अनुभव और कॉग्नीटिव डिस्फंक्शन ज्यादा देखा जाता है। वैज्ञानिकों का मानना है कि महिलाओं और पुरुषों में अलग-अलग अनुभव के पीछे हॉर्मोन कारण बन सकते हैं। महिलाओं का एस्ट्रोजन हॉर्मोन स्ट्रोक के खिलाफ सुरक्षा देने वाला देखा गया। ऐसा एस्ट्रोजन के एंटी इंफ्लामेटरी गुण की वजह से हो सकता है, जो ब्रेन डैमेज से बचाता है। साथ ही यह हॉर्मोन इंटरनल कारोटीड आर्टेरी में ब्लड फ्लो बढ़ाता है, जिससे दिमाग को ऑक्सीजन से भरपूर खून मिलता है।
डॉक्टर ने बताया कि स्मोकिंग करने वाले हर पुरुष और महिला को स्ट्रोक का खतरा होता है। स्मोकिंग से ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और कोलेस्ट्रॉल गंभीर होते हैं, जो कि खतरा बढ़ाते हैं। वहीं, महिलाओं में इनके अलावा, प्रेगनेंसी, प्रीक्लेम्पसिया, कॉन्ट्रासेप्टिव पिल्स, माइग्रेन, असामान्य हार्टबीट खतरा बढ़ा देते हैं। मालूम हो कि दिमाग की नस बंद होने या फटने पर स्ट्रोक आता है। इसकी वजह से कुछ वक्त के लिए या परमानेंट पैरालाइसिस हो सकता है। यह बीमारी इतनी घातक है कि कुछ ही देर में मरीज की जान भी जा सकती है।(एजेंसी)